अहीर होता तो कोतवाल होता, लेकिन क्या करें?
- Posted By: Tejyug News LIVE
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- Updated: 6 May, 2025 22:03
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अहीर होता तो कोतवाल होता, लेकिन क्या करें?
-लालगंज पुलिस भाजपा जिलाध्यक्ष को कुछ नहीं समझती
-थकहार जब दलित पीड़ित महिला जिलाध्यक्ष के पास पहुंची तो उन्होंने एसओ से मुकदमा दर्ज करने को कहा, एसओ ने अनसुना कर दिया
-सत्ता पक्ष का जिलाध्यक्ष अगर किसी पीड़ित का मुकदमा दर्ज नहीं करवा सकते तो फिर इनके रहने का क्या फायदा
-पुलिस अगर सबल पक्ष को न छोड़ देती तो वह लोग नाबालिग और गर्भवती महिला को लहुलुहान न करते
बस्ती। अगर लालगंज पुलिस सत्ता पक्ष के जिलाध्यक्ष की नहीं सुनेगी तो फिर पुलिस किसकी सुनेगी। कमजोरी लालगंज पुलिस में नहीं बल्कि सत्ता पक्ष के जिलाध्यक्ष में हैं, जो एक पीड़ित दलित महिला परिवार का मुकदमा तक दर्ज नहीं करवा पा रहे है। देखिए योगी जी अपने पुलिस का हाल जब आपके जिलाध्यक्ष की नहीं सुन रही हैं, तो ऐसे जिलाध्यक्ष के रहने और न रहने का क्या फायदा। मीडिया बराबर कहती आ रही है, कि अध्यक्षजी अगर आप ने अपनी ताकत का एहसास पुलिस और प्रषासनिक अधिकारियों को नहीं कराया तो आपके पास कोई भी पीड़ित पक्ष फरियाद लेकर नहीं जाएगा। वैसे भी लालगंज पुलिस वही करती है, जो वह चाहती है। यहां की पुलिस जितना अपराधियों और बदमाषों की सुनती है, उतना एक आम आदमी की नहीं सुनती। क्यों नहीं सुनती, यह कहने और लिखने की बात नहीं बल्कि समझने की है। पुलिस खुद नहीं चाहती कि समाज में उसकी छवि सुधरे। सुधरने का मतलब अपना नुकसान करने जैसा होगा। कहा जाता है, कि पुलिस अगर सबल पक्ष को न छोड़ देती तो वह लोग नाबालिग और गर्भवती महिला को लहुलुहान न करते।
मामला लालगंज थाना क्षेत्र के कुदरहा चौकी के उजियानपुर गाँव की एक भूमिहीन महिला विद्या देवी (अनुसुचित जाति) से सम्बन्धित है। जानकारी के अनुसार सरकार द्वारा आवास के लिए पटटा मिला था। जिस पर गाँव के ही मनीष श्रीवास्तव मकान निर्माण कर कब्जा कर लिया। दूसरा आबादी भूमि पूर्वजों के द्वारा बटवारे में मिली आबादी की जमीन जो तीन-चार घुर है, उसी में वह रविवार को सब्जी बोने जा रही थी। उसी जमीन को लेकर उसी वक्त विपक्षीगण लाठी डंडे से लैस होकर गाली गुप्ता देते हुए मारपीट करने पर आमादा हो गये। जिस पर किसी ने 112 पर सूचना किया पुलिस आई दोनों पक्ष को चौकी पर जाने की बात कहकर चली गई। दोनों पक्ष चौकी पर गये। सबल पक्ष को चौकी प्रभारी द्वारा छोड़ दिया गया। यह लोग घर गये आव देखा न ताव विद्या देवी की दो लड़कियां जिसमें एक नाबालिग एवं एक जो इस समय गर्भवती है को मार कर लहूलुहान कर दिया। पीड़ित महिला रविवार से चौकी एवं थाना का चक्कर लगा रही है। इनका सुनने वाला कोई नहीं है। यह महिला थकहार कर न्याय की उम्मीद लेकर भाजपा जिलाध्यक्ष के पास गयी। इन्होंने बडे़ ही इतमिनान से पीड़ित महिला की बात सुनी एवं थाना प्रभारी लालगंज शशांक शेखर राय से मुकदमा पजीकृत करने की बात कही। फिर भी दो दिन बीतने के बाद भी मुकदमा नहीं लिखा गया। खबर लिखे जाने तक पीड़ित महिला को नाबालिक लडकी के साथ वगैर कुछ खाये पिए बैठाया गया था। महिला का रो-रो कर बुरा हाल बना हुआ है। यहा के चौकी प्रभारी राम अशोक यादव है। इनकी विचार धारा देखिए। यह अपने मुंह तुम आपन करनी की कहावत को लोगों से कहकर चरितार्थ कर रहे हैं। यह लोगों से कहते हुए फिर रहे हैं कि मैं कोतवाल होता, लेकिन भाजपा सरकार में अहिरों की सुनवाई नहीं होती है। इन्हें यह नहीं पता राष्ट्र सेवा में पद नहीं बल्कि कर्म महत्वपूर्ण है। बडा से भी बड़ा पद हमेशा नहीं रहेगा लेकिन किसी पीड़ित व्यक्ति की मदद हो गया तो मानवता रहेगा। यह लोग खुद नही चाह रहे है कि अपराध एवं अपराधी कम हो। बस इन्हें लक्ष्मी चाहिए। उपरोक्त घटना को लेकर महिला ने शिवनारायण पुत्र रामगोपाल नंदलाल गोलू पुत्र शिवनारायण प्रेमा पत्नी शिवनारायण गायत्री पुत्री शिवनारायण ज्ञानी आदि के द्वारा घर में घुसकर लात मुंका लाठी डंडा ठेका आदि से मारने एवं जाति सूचक गाली गुप्ता देते हुए जान से मार डालने की तहरीर रविवार को थाने पर दिया है।
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